1. बगलामुखी साधना के दौरान पूर्ण ब्रह्मचर्य का पालन करना अत्याधिक आवश्यक है.
2. इस क्रम में स्त्री का स्पर्श, उसके साथ किसी भी प्रकार की चर्चा या सपने में भी उसका आना पूर्णत: निषेध है. अगर आप ऐसा करते हैं तो आपकी साधना खण्डित हो जाती है.
3. किसी डरपोक व्यक्ति या बच्चे के साथ यह साधना नहीं करनी चाहिए. बगलामुखी साधना के दौरान साधक को डराती भी है. साधना के समय विचित्र आवाजें और खौफनाक आभास भी हो सकते हैं इसीलिए जिन्हें काले अंधेरों और पारलौकिक ताकतों से डर लगता है, उन्हें यह साधना नहीं करनी चाहिए.
4. साधना से पहले आपको अपने गुरू का ध्यान जरूर करना चाहिए.
5. मंत्रों का जाप शुक्ल पक्ष में ही करें. बगलामुखी साधना के लिए नवरात्रि सबसे उपयुक्त है.
6. उत्तर की ओर देखते हुए ही साधना आरंभ करें.
7. मंत्र जाप करते समय अगर आपकी आवाज अपने आप तेज हो जाए तो चिंता ना करें.
8. जब तक आप साधना कर रहे हैं तब तक इस बात की चर्चा किसी से भी ना करें.
9. साधना करते समय अपने आसपास घी और तेल के दिये जलाएं.
10. साधना करते समय आपके वस्त्र और आसन पीले रंग का होना चाहिए.