भोजपत्र की टहनियों की धूप से भूत-प्रेत, जिन्नादि भाग जाते हैं | मंत्रोच्चार करते हुए ढीले वस्त्रों में रोगी को ऐसे बैठाएं कि सरे शरीर पर धुआं लगे |
भोजपत्र पर विष्णु, मोहिनी, तुलसी, वशीकरण, आकर्षण आदि से सम्बंधित मंत्र लिखकर सिद्ध करके पहनने से वांछित फल की प्राप्ति होती है |
भोजपत्र की जड़, अनार की जड़, सहदेई की जड़, श्वेतार्क की जड़ और गुंजा की जड़ को पिस-घोटकर गोरोचन के साथ तिलक करने से इतना सशक्त वशीकरण होता है कि प्राणों का दुश्मन भी दास बन जाता है