शिवलिंग पर बेलपत्र चढ़ाने का सही नियम

शिवलिंग पर बेलपत्र चढ़ाने का क्या नियम है? Mahashivratri 2023

Shivling Pe Bel Patra Kaise Chadhaye: हर साल फाल्गुन मास के कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी तिथि के दिन महाशिवरात्रि का पर्व मनाया जाता है। मान्यता है कि महाशिवरात्रि के दिन ही भगवान शिव और माता पार्वती का विवाह हुआ था। इस दिन भगवान शिव और माता पार्वती की पूजा करने से व्यक्ति की सभी मनोकामनाएं पूरी होती हैं।

भगवान शिव की पूजा में शिवलिंग पर बेलपत्र का बहुत महत्व माना जाता है। बेल पत्र के बिना भगवान शिव की पूजा अधूरी मानी जाती है। धार्मिक मान्यताओं के अनुसार बेल पत्र चढ़ाने से भगवान शिव प्रसन्न होते हैं। ऐसे में अगर आप भी हर भगवान शिव को बेलपत्र चढ़ाने की सोच रहे हैं तो आइए जानते हैं बेलपत्र चढ़ाने और तोड़ने का नियम।

शिवलिंग पर बेलपत्र चढ़ाने के नियम
शिवलिंग पर बेलपत्र चढ़ाने के नियम

शिवलिंग पर बेलपत्र चढ़ाने के नियम – Bel Patra Shivling Par Kaise Chadhaye

  • शिवलिंग पर हमेशा तीन पत्तों वाला बेलपत्र चढ़ाना चाहिए। ध्यान रहे कि इसमें कोई दाग या धब्बा नहीं होना चाहिए।
  • शिवलिंग पर कभी भी कटे-फटे और मुरझाए हुए बेल के पत्ते नहीं चढ़ाने चाहिए।
  • शिवलिंग पर बेल पत्र चढ़ाने से पहले उसे अच्छी तरह धोकर शिवलिंग पर बेल पत्र का चिकना भाग ही चढ़ाएं।
  • पत्ते का सूखा भाग ऊपर की ओर रखें।
  • अगर पूजा के समय आपके पास बेल पत्र नहीं है तो वहां मौजूद पत्तों को धोकर फिर से शिवलिंग पर चढ़ा दें।
  • बेल पत्र कभी भी बासी या झूठा नहीं होता है।
  • आप शिवलिंग पर 11 या 21 बेलपत्र चढ़ा सकते हैं या कम से कम एक बेलपत्र भी चढ़ा सकते हैं।
  • यदि बेल पत्र उपलब्ध न हो तो बेल के वृक्ष के दर्शन करने चाहिए। उससे भी पाप और ताप नष्ट हो जाते हैं।

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बेल पत्र तोड़ने के नियम – Bel Patra Todne Ke Niyam

  • बेल पत्र तोड़ने से पहले भगवान शिव का स्मरण करना चाहिए।
  • पत्ते तोड़ने से पहले बेल के पेड़ को प्रणाम करना चाहिए।
  • चतुर्थी, अष्टमी, नवमी तिथि, प्रदोष व्रत, शिवरात्रि, अमावस्या और सोमवार को बेलपत्र के पत्ते नहीं तोड़ने चाहिए।
  • अगर आप भगवान शिव को बेल पत्र चढ़ाना चाहते हैं तो इन तिथियों से एक दिन पहले बेल पत्र को तोड़कर रख लें।
  • बेल पत्र को कभी भी पूरी शाखा के साथ नहीं तोड़ना चाहिए।

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शिवलिंग पर बेलपत्र चढ़ाने के फायदे

बेल पत्र चढ़ाने के बाद जल चढ़ाते समय ॐ नमः शिवाय मंत्र का जाप करें। ऐसा करने से जीवन के सारे संकट दूर हो जाते हैं।

अगर महिलाएं शिव पूजा के समय बेलपत्र चढ़ाएं तो उन्हें अखंड सौभाग्य की प्राप्ति होती है।

बेल पत्र पर चंदन से राम या ॐ नमः शिवाय लिखकर अर्पित करना चाहिए। इससे सभी मनोकामनाएं पूर्ण होती हैं।

विस्तार से जानने के लिए विडिओ भी देख सकते है!

FAQ

शिवलिंग पर बेल पत्र चढ़ाने का क्या महत्व है?

शिवलिंग पर बेलपत्र चढ़ाना एक ऐसा अनुष्ठान है जिसका हिंदू धर्म में बहुत महत्व है और माना जाता है कि यह आशीर्वाद और सकारात्मक ऊर्जा लाता है। इसे भगवान शिव के लिए सबसे शुद्ध प्रसाद माना जाता है और यह उनके प्रति भक्ति और प्रेम दिखाने का एक तरीका है।

शिवलिंग पर बेल पत्र लगाने का सबसे अच्छा समय कब होता है?

शिवलिंग पर बेल पत्र लगाने का सबसे अच्छा समय महाशिवरात्रि के त्योहार के दौरान होता है। हालाँकि, इसे किसी भी दिन भगवान शिव के प्रति भक्ति और प्रेम के प्रतीक के रूप में चढ़ाया जा सकता है।

शिवलिंग पर बेल पत्र चढ़ाने से क्या लाभ होते हैं?

माना जाता है कि शिवलिंग पर बेल पत्र रखने से आशीर्वाद और सकारात्मक ऊर्जा आती है, नकारात्मक विचार और भावनाएं खत्म होती हैं और शांति और समृद्धि आती है। यह भी माना जाता है कि यह इच्छाओं और इच्छाओं को पूरा करता है, और अच्छा स्वास्थ्य और धन लाता है।

शिवलिंग पर कैसे लगाएं बेल पत्र?

शिवलिंग पर बेलपत्र लगाने के लिए पत्तों को शिवलिंग पर एक-एक करके रखना चाहिए। पत्तों को रखते समय “ओम नमः शिवाय” मंत्र का जाप करने की सलाह दी जाती है।

क्या शिवलिंग पर बेल पत्र चढ़ाते समय किसी दिशा-निर्देश का पालन करना आवश्यक है?

जी हां, शिवलिंग पर बेल पत्र चढ़ाते समय कुछ दिशा-निर्देशों का पालन करना जरूरी है। इसमें पत्तियों को छोटे-छोटे टुकड़ों में तोड़कर “ओम नमः शिवाय” मंत्र का जाप करते हुए शिवलिंग पर एक-एक करके रखा जाता है।

क्या होता है अगर शिवलिंग पर बेलपत्र सही तरीके से नहीं चढ़ाया जाए?

शिवलिंग पर बेल पत्र रखना एक अनुष्ठान है और भगवान शिव के प्रति सम्मान और भक्ति दिखाने के लिए उचित प्रक्रिया का पालन करना महत्वपूर्ण है। हालांकि, अगर पत्तियों को ठीक से नहीं रखा गया है, तो यह वांछित लाभ और आशीर्वाद नहीं दे सकता है।

क्या किसी भी दिन शिवलिंग पर बेल पत्र चढ़ाया जा सकता है?

हां, भगवान शिव के प्रति भक्ति और प्रेम के प्रतीक के रूप में किसी भी दिन शिवलिंग पर बेल पत्र चढ़ाया जा सकता है। हालांकि शिवलिंग पर बेल पत्र चढ़ाने के लिए महाशिवरात्रि का पर्व सबसे अच्छा दिन माना जाता है।

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