poorvajon kee tasveer ka vaastu

पूर्वजों की तस्वीर का वास्तु – घर का वास्तु – poorvajon kee tasveer ka vaastu – ghar ka vastu

पूर्वजों की तस्वीर का वास्तु वास्तु अनुसार पूर्वजों की तस्वीर की दिशा
घर में पितरों की फोटो/तस्वीर लगाने से उनकी कृपा – दृष्टि बनी रहती है तथा उनका आशीर्वाद प्राप्त होता रहता है। किसी भी घर में पूर्वजों के चित्र सदा दक्षिण-पश्चिम दिशा में लगाएं। तस्वीर लगाते समय कुछ सावधानियाँ जरूर रखनी चाहिए क्योकि गलत जगह पर तस्वीर लगाने से हमें अशुभ परिणाम मिल सकते है । पूर्वजों की फोटो कभी भी देवताओं के साथ नहीं लगानी चाहिए, हमारे पूर्वज सम्मानीय होते है लेकिन वह देवी देवताओं का स्थान नहीं ले सकते ।
हिन्दू धर्म को मानने वाले ज्यादातर लोग पूर्वजों की तस्वीर इसलिए भी लगाते हैं ताकि अपने घर पर हमेशा उनकी कृपा बनी रहें। लेकिन अगर यहीं तस्वीर घर में गलत जगह लगाई जाये तो यह शुभ की जगह अशुभ फलदायक होता हैं। वास्तु के अनुसार घर में पितरों की तस्वीरें कुछ जगह पर निषेद्ध हैं। अगर आपको नहीं पता की इन तस्वीरों को कहा लगाया जाये, तो आइये हम बताते हैं आपको। वास्तु टिप्स
घर के नैत्रत्य कोण यानी की दक्षिण-पश्चिम दिशा में पितरों की तस्वीर नहीं रखनी चाहिए। ऐसा करना घर की तरक्की के लिए अच्छा नहीं माना जाता। घर के उत्तरी हिस्से में कमरों में या फिर जिस भी कमरे में आप तस्वीर लगाना चाहते हैं, वहां की उत्तर दिशा की दिवार पर पितरों की तस्वीर लगाना शुभ होता हैं। घर के ब्रह्म स्थान यानी की बीचों-बीच में भी पितरों की तस्वीर लगाने से बचना चाहिए। इस जगह पितरों की तस्वीर लगाने से वहां के लोगों के मान-सम्मान को हानि पहुंच सकती है। इसके अलावा घर की पश्चिम या दक्षिण दिशा में भी पितरों की तस्वीर लगाने की मनाही होती है। यहां तस्वीर लगाने से घर की संपति को हानी पहुंच सकती है। घर के मंदिर में पितरों की तस्वीर नहीं होनी चाहिए। यहां पर पितरों की तस्वीर रखना अशुभ फलों का कारण बन सकता है। घर के ब्रह्म स्थान यानी की बीचों-बीच में भी पितरों की तस्वीर लगाने से बचना चाहिए। इस जगह पितरों की तस्वीर लगाने से वहां के लोगों के मान-सम्मान को हानि पहुंच सकती है। इसके अलावा घर की पश्चिम या दक्षिण दिशा में भी पितरों की तस्वीर लगाने की मनाही होती है। यहां तस्वीर लगाने से घर की संपति को हानी पहुंच सकती है। कभी भी भूलकर भी सोने के कमरे में और पूजा करने के स्थान पर पूर्वजों के चित्र नहीं लगाने चाहिए, यह अपशगुन माना जाता है। इसी प्रकार मंदिर में भी पूर्व की तस्वीर न लगाए, यह देवताओं का अपमान माना जाता है। रसोई में भी अपने पितरों की फोटो नहीं लगानी चाहिए, यदि घर में पूजा करने का स्थान ईशान कोण (उत्तर-पूर्व ) में है तो पितरों की तस्वीर पूर्व में लगानी चाहिए और यदि पूजा का स्थान पूर्व में है तो तस्वीर ईशान कोण में लगानी चाहिए। कभी भी घर के बीचो बीच पूर्वजों की तस्वीर नहीं लगानी चाहिए क्योकि ऐसा करने से उस परिवार के सदस्यों की मानहानि होने की सम्भावना रहती है। ”

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