chandra ka aathaven bhav mein phal - kundali ke vibhinn lagn mein chandrama ka manushya par prabhaav va dosh nivaaran

चन्द्र का आठवें भाव में फल – कुंडली के विभिन्न लग्न में चंद्रमा का मनुष्‍य पर प्रभाव व दोष निवारण – पहला दिन – Day 1 – 21 Din me kundli padhna sikhe – chandra ka aathaven bhav mein phal – kundali ke vibhinn lagn mein chandrama ka manushya par prabhaav va dosh nivaaran – Pahla Din

यह भाव मंगल और शनि के अंतर्गत आता है। यहां पर स्थित चंद्रमा जातक की शिक्षा पर प्रतिकूल प्रभाव डालता है। लेकिन यदि शिक्षा अच्छी है तो जातक की मां का जीवन छोटा होता है। लेकिन अक्सर यही देखने को मिलता है कि जातक शिक्षा और मां को खो देता है। हालांकि, यदि बृहस्पति और शनि दूसरे भाव में हों तो सातवें घर में बैठे चंद्रमा का बुरा कम हो जाएगा। इस भाव में स्थित चन्द्रमा जातक को पैतृद सम्पत्ति से वंचित करता है। यदि जातक की पैतृक सम्पत्ति के पास कोई कुंआ या तालाब होता है तो जातक के जीवन में चंद्रमा के प्रतिकूल परिणाम देखने को मिलते हैं।

उपाय

1. जुआ और अनैतिकता से बचें।

2. अपने पूर्वजों के लिए श्रद्धा समारोह आयोजित करें।

3. कुएं को छत से ढकने के बादघर का निर्माण न करें।

4. बुजुर्गों और बच्चों के पैर छूकर आशीर्वाद लें।

5. श्मशान भूमि की सीमा के भीतर स्थित नल या कुंए से पानी लाएं और अपने घर के भीतर रखें। यह सप्तम भाव में स्थित चंद्रमा की सभी बुराइयों दूर करता है।

6. पूजा स्थल में चना और दाल दान करें।

चन्द्र का आठवें भाव में फल – कुंडली के विभिन्न लग्न में चंद्रमा का मनुष्‍य पर प्रभाव व दोष निवारण – chandra ka aathaven bhav mein phal – kundali ke vibhinn lagn mein chandrama ka manushya par prabhaav va dosh nivaaran – पहला दिन – Day 1 – 21 Din me kundli padhna sikhe – Pahla Din

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