griharambh ki neev

गृहारंभ की नींव – सम्पूर्ण वास्तु दोष – griharambh ki neev – sampurna vastu dosh nivaran

गृहारंभ की नींव :-

वैशाख, श्रावण, कार्तिक, मार्गशीर्ष और फाल्गुन इन चंद्रमासों में गृहारंभ शुभ होता है। इनके अलावा अन्य चंद्रमास अशुभ होने के कारण
निषिद्ध कहे गये हैं। वैशाख में गृहारंभ करने से धन धान्य, पुत्र तथा आरोग्य की प्राप्ति होती है। श्रावण में धन, पशु और मित्रों की वृद्धि होती है।
कार्तिक में सर्वसुख।मार्गशीर्ष में उत्तम भोज्य पदार्थों और धन की प्राप्ति। फाल्गुन में गृहारंभ करने से धन तथा सुख की प्राप्ति और वंश वृद्धि होती है।
किंतु उक्त सभी मासों में मलमास का त्याग करना चाहिए। गृहारंभ और सौरमास : गृहारंभ के मुहूर्त में
चंद्रमासों की अपेक्षा सौरमास अधिक महत्वपूर्ण, विशेषतः नींव खोदते समय सूर्य संक्रांति विचारणीय है। पूर्व कालामृत का कथन
है- गृहारंभ में स्थिर व चर राशियों में सूर्य रहे तो गृहस्वामी के लिए धनवर्द्धक होता है। जबकि द्विस्वभाव (3, 6, 9, 12) राशि गत सूर्य
मरणप्रद होता है। अतः मेष, वृष, कर्क, सिंह, तुला, वृश्चिक, मकर और कुंभ राशियों के सूर्य में गृहारंभ करना शुभ रहता है। मिथुन, कन्या,
धनु और मीन राशि के सूर्य में गृह निर्माण प्रारंभ नहीं करना चाहिए।

गृहारंभ की नींव – griharambh ki neev – सम्पूर्ण वास्तु दोष – sampurna vastu dosh nivaran

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